केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर से भाजपा प्रदेश प्रवक्ता कुणाल षाड़ंगी ने की मुलाकात, झारखंड में खेलों के व्यापक प्रसार, युवा आयोग और जमशेदपुर में राष्ट्रीय खेल विश्वविद्यालय बनाने की मांग की
■ केंद्र सरकार जनजातीय समाज के खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने हेतु विशेष स्कॉलरशिप का करे प्रावधान।
जमशेदपुर (संवाददाता ):-भाजपा झारखंड के प्रदेश प्रवक्ता सह पूर्व विधायक कुणाल षाड़ंगी ने केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण, युवा मामले एवं खेल मंत्री अनुराग ठाकुर से मुलाकात की। शुक्रवार को दिल्ली स्थित आवास पर हुई मुलाकात में कुणाल षाड़ंगी ने झारखंड में खेल के विकास संबंधी मुद्दों पर चर्चा की। उन्होंने कहा कि जमशेदपुर झारखंड की खेल राजधानी है। झारखंड में तीरंदाज़ी, हॉकी और लॉन बॉल जैसे खेलों का भारतीय टीम में प्रतिनिधित्व करने के मामले में देश में अव्वल राज्यों में से है। यहां के छोटे-छोटे गांवों से भी राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय स्तर की प्रतिभाएँ निकली है। परंतु जितनी बड़ी संख्या में वहाँ से खिलाड़ी निकलते हैं उस अनुपात में राज्य में सरकारी स्तर की आधारभूत संरचना की उपलब्धता में भारी कमी है। केंद्र सरकार को इस मसले पर संज्ञान लेकर पहल करनी आवश्यक है।
उन्होंने कहा कि बंगाल के झारग्राम और ओडिशा के मयूरभंज जिले में और उनकी सीमा से सटे कोल्हान जैसे प्रमंडलों में निवास करने वाले जनजाति समाज के युवाओं में फुटबॉल व हॉकी की लोकप्रियता बहुत ज़्यादा है और वहाँ प्रतिभाओं की भरमार है। वहाँ पर अंतर्राज्यीय फुटबॉल एकाडेमी बनाई जा सकती है जिससे तीनों राज्यों के खिलाड़ियों को लाभ मिले। तीरंदाज़ी, हॉकी व फुटबॉल के खेलों के क्षेत्र में राष्ट्रीय स्तर का विकास और अभ्यास के लिए टाटा कंपनी के संस्थानों पर ही वहाँ के युवा पूरी तरह से निर्भर हैं। राज्य सरकार के अपने संस्थान होने चाहिए ताकि ज़्यादा से ज़्यादा युवाओं को मौक़ा मिल सके। कुणाल षाड़ंगी ने लौहनगरी जमशेदपुर में राष्ट्रीय खेल विश्वविद्यालय बनाने की मांग की है। उन्होंने केंद्र सरकार से जनजातीय समाज के खिलाड़ियों को प्रोत्साहित करने हेतु विशेष स्कॉलरशिप का प्रावधान करने का भी आग्रह किया।
उन्होंने कहा कि सूचना व प्रसारण के क्षेत्र में युवाओं में यह अवधारणा है कि प्राईवेट टीवी चैनेल या एफ एम स्टेशनों की तुलना में दूरदर्शन और आकाशवाणी के जो कार्यक्रम है वो युवाओं के लिए उतने प्रासंगिक नहीं होते हैं। जिससे युवा इन माध्यमों में इतनी रुचि नहीं दिखाते हैं। युवाओं को केंद्र में रखने वाले कार्यक्रमों की संख्या बढ़ाई जानी ज़रूरी है ताकि युवाओं की जो बडी तादाद ग्रामीण इलाक़ों में रहती है उनकी दूरदर्शन व ऑल इंडिया रेडियो के कार्यक्रमों में सहभागिता बढ़ सके।
इसके साथ ही, कुणाल षाड़ंगी ने झारखंड में युवा आयोग के गठन ना होने पर केंद्रीय मंत्री का ध्यान आकृष्ट कराते हुए कहा कि देश के झारखंड देश के कुछ चुनिंदा राज्यों में से एक हैं जहां अबतक युवा आयोग का गठन अधर में लटका हुआ है। युवा आयोग सरकार और युवाओं के बीच सेतु की भांति कार्य करता है। परंतु कई वर्षों से यह लंबित हैं।सभी विषयों पर सकारात्मक चर्चा के बाद केंद्रीय मंत्री अनुराग ठाकुर ने इन मामलों को व्यक्तिगत रूप से देखने और इनपर आवश्यक कार्रवाई जल्द करने का भरोसा दिया है।