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जमशेदपुर (संवाददाता ):- आज दिनांक 13 मार्च को संपूर्ण घाघीडीह विकास समिति एवं बागबेड़ा महानगर विकास समिति की बैठक समिति के अध्यक्ष छोटे राय मुर्मू की अध्यक्षता में घाघीडीह के विकास भवन में ग्राम वासियों के साथ की गई।बैठक में संपूर्ण घाघीडीह विकास समिति के अध्यक्ष छोटे राय मुर्मू ने कहा बागबेड़ा ग्रामीण जलापूर्ति योजना के अगुवाई करता जल आंदोलनकारी हम सभी के बड़े भैया सुबोध झा जी जो भी निर्णय लेंगे हम सब उनके साथ हैं। हमारा एक सुझाव है इस बार के आंदोलन में जलापूर्ति अगर शुरू नहीं की जाती है तो हम लोग हाईकोर्ट में जनहित याचिका दायर करेंगे। बैठक मे ग्रामीणों ने एवं आंदोलनकारी कृष्णा चंद्र पात्रों रितु सिंह प्रभा हास्दा डॉ बीके सिन्हा गोविंदा पोथी समाजसेवी मनोहर दास मीना टू डू ग्राम प्रधान साकरो सोरेन ने भी अपने अपने विचार रखे हम सभी के गुरु सुबोध झा जी आगे की रणनीति बताएंगे।
बागबेड़ा महानगर विकास समिति के अध्यक्ष एवं संपूर्ण घाघीडीह विकास समिति के संरक्षक सुबोध झा ने कहा जिस प्रकार से बागबेड़ा हाउसिंग कॉलोनी जलापूर्ति योजना को धरातल पर उतारा गया। ठीक उसी प्रकार से बागबेड़ा ग्रामीण जलापूर्ति योजना से जब तक घर-घर पाइपलाइन के माध्यम से शुद्ध पीने योग्य पानी नहीं प्राप्त हो जाती है। समिति का आंदोलन जारी रहेगा और जनता जनार्दन सहयोग करें। सभी उपस्थित जनता जनार्दन ने हाथ उठाकर के तन मन धन से सहयोग करने का आह्वान किया। सुबोध झा ने कहा 21 मार्च को 10:30 बजे हर-हर गुड्डू काली मंदिर प्रांगण से पानी की मांग को लेकर जमशेदपुर से दिल्ली के लिए 21 लोगों की टीम पदयात्रा करेगी। और उससे पहले 15 मार्च को महामहिम राज्यपाल महोदय से मिलने आंदोलनकारियों की एक जत्था माननीय प्रधानमंत्री जी के नाम मांग पत्र सौंपने जाएंगे। और जनहित याचिका दायर करने के लिए हाईकोर्ट के अधिवक्ता नीरज किशोर जी से भी मिलकर जनहित याचिका पर विचार लेंगे। सुबोध झा ने आंदोलनकारियों से अपने खाने पीने की व्यवस्था सत्तू चूड़ा गुड भुजा ठेकुआ नीमकी सब बनाकर भरपूर मात्रा में ले ले। आटा दाल चावल की भी व्यवस्था हम सभी लोग मिलकर कर ले। क्योंकि 3 महीने का समय भी इस यात्रा में लगेगा और रास्ते में स्वयं बना कर खाना है और स्वयं पैदल चलना है। और खानाबदोश के समान कहीं भी रात्रि विश्राम के लिए आशियाना डाल देना है। इसी संकल्प के साथ जो भी पदयात्री जाना चाहते हैं वह सभी पानी के लिए दिल्ली पैदल चलें। सुबोध झा के घोषणा के बाद ग्रामीण उपस्थित महिलाओं जोर देकर कहा हम भी चलेंगे और किसी ने ठेकुआ किसी ने चुडा किसी ने सत्तू किसी ने भुजा अलग-अलग प्रकार की व्यवस्थाएं आंदोलनकारियों के लिए देने की घोषणा की है।आज के बैठक में सैकड़ों ग्रामीण उपस्थित थे ।

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