सावधान होकर खाए मोमोज…घर का बना हेल्दी, तो वही बाहर का हो सकता है हानिकारक.

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जमशेदपुर : शहर में मेमोज खूब पसंद किया जा रहा है। अब तो जगह-जगह पर बिकने भी लगा है। कोरोना के दौरान जब स्ट्रीट फूड्स बंद हो गया तो लोग घर-घर में बनाना सीख लिए,लेकिन, ठेला और होटल में मिलने वाला मोमोज की हकीकत अगर आप एक बार जान लेंगे तो दोबारा खाने की हिम्मत नहीं जुटाएंगे। जी हां, इसके बनाने की विधि व इसमें उपयोग होने वाले खाद्य-पदार्थों की क्वालिटी काफी खराब रहता है। हालांकि, यह टेस्ट से पता नहीं चलता है। जब उसकी जांच की गई तो इसमें इसकी पुष्टि हुई है। ऐसे में अगर आप बाहर में मोमोज खाते हैं तो काफी सावधान होने की जरूरत है,बाजार में कई तरह के मोमोज बिक रहा

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लोगों की पसंद को देखते हुए होटलों में मोमोज कई फ्लेवर्स में तैयार किया जा रहा है। इसमें स्टीम्ड मोमो, तंदूरी मोमो, पनीर मोमो, चिली मोमो से लेकर चॉकलेट मेमोज तक शामिल है। लोग इसका जमकर लुत्फ उठा रहे हैं। लेकिन उन्हें इसके खतरे के बारे में जानकारी नहीं है, विशेषज्ञों का कहना है कि मेमोज टेस्ट में तो लाजवाब होते है, लेकिन इसका सेहत पर बुरा प्रभाव पड़ रहा है, मेमोज को सबसे ज्यादा अनहेल्दी फूड्स की लिस्ट में रखा गया है, खासकर उसके साथ मिलने वाली चटनी सेहत के लिए काफी नुकसान पहुंचा रही है,सड़े गेहूं का हो रहा उपयोग,
वैसे तो मेमोज मैदा से बनता है लेकिन इसमें सड़े गेहूं का भी उपयोग हो रहा है। जिसे सुन आपका मन बिदक जाएगा, इतना ही नहीं, मैदा की क्वालिटी का भी भरोसा नहीं होता, कई बार मैदा भी खराब निकल चुका है, मैदा में कई बार ब्लीचिंग केमिकल्स भी मिलाए जाते हैं, जो सेहत के लिए खतरनाक होता है, मेमोज बनाने वाले एक होटल के कर्मचारी ने बताया कि मोमोज में उपयोग की जाने वाली सब्जियों की क्वालिटी भी अच्छी नहीं होती है, जिसका असर सेहत पर पड़ सकता है, दरअसल, इनमें मरे हुए जानवरों का मीट होने का खतरा भी रहता है, कई बार इस तरह के मामले भी सामने आ चुके हैं, जिसके कारण सवाल उठने लगा है, ऐसे में लोगों को जागरूक होने की जरूरत है।

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